The Rise and Fall of Shaheen Afridi: 2018 में जब शाहीन शाह अफरीदी ने पाकिस्तान क्रिकेट में कदम रखा, तब उन्हें सिर्फ एक उभरते गेंदबाज के रूप में नहीं देखा गया था, बल्कि एक ऐसे खिलाड़ी के रूप में देखा गया था जो भविष्य में पाकिस्तान क्रिकेट का बड़ा चेहरा बन सकता था। 6 फीट 5 इंच लंबे शाहीन अपनी तेज रफ्तार और नई गेंद से स्विंग कराने की कला के लिए मशहूर थे। उन्होंने अपने डेब्यू के कुछ ही महीनों में खुद को वर्ल्ड क्रिकेट के सर्वश्रेष्ठ तेज गेंदबाजों में शामिल कर लिया था।
शुरुआती सालों में छाए रहे शाहीन अफरीदी
शाहीन ने अपने करियर की शुरुआत ही रिकॉर्ड्स के साथ की। 2018 में, टेस्ट डेब्यू से पहले ही उन्होंने लगातार तीन वनडे मैचों में चार विकेट लेने का विश्व रिकॉर्ड बना दिया था। उन्होंने अपने पहले ही साल में 79 अंतरराष्ट्रीय विकेट चटका दिए और जल्दी ही दुनिया के टॉप तेज गेंदबाजों में शुमार हो गए।
2021 का T20 वर्ल्ड कप उनके करियर का सुनहरा दौर था। खासकर भारत के खिलाफ उनका प्रदर्शन आज भी क्रिकेट फैंस के जेहन में ताजा है। शाहीन ने उस मुकाबले में रोहित शर्मा को पहली ही गेंद पर गोल्डन डक पर आउट कर तहलका मचा दिया था। उसके बाद उन्होंने केएल राहुल और विराट कोहली के विकेट लेकर पाकिस्तान को ऐतिहासिक जीत दिलाई थी।
टेस्ट क्रिकेट में भी शाहीन का दबदबा देखने को मिला। साल 2021 में उन्होंने 9 टेस्ट मैचों में 47 विकेट झटके, जो यह दिखाता है कि वह कितने शानदार फॉर्म में थे। 2018 से 2021 के बीच उन्होंने 184 अंतरराष्ट्रीय विकेट लिए, जिनमें से 86 टेस्ट में आए। वह इस दौरान विश्व क्रिकेट के सबसे बेहतरीन तेज गेंदबाजों में गिने जाने लगे।
चोट ने बदला शाहीन का करियर
लेकिन तेज गेंदबाजी का खेल शरीर पर गहरा प्रभाव डालता है, और शाहीन के साथ भी यही हुआ। जुलाई 2022 में श्रीलंका के खिलाफ एक कैच पकड़ने के प्रयास में उनका घुटना चोटिल हो गया। यह चोट उनकी पीसीएल (Posterior Cruciate Ligament) इंजरी थी, जिसे शुरू में मामूली समझा गया था, लेकिन बाद में यह उनके करियर के लिए बड़ा झटका साबित हुई।
इस चोट के चलते शाहीन को एशिया कप 2022 से बाहर होना पड़ा। वह T20 वर्ल्ड कप 2022 के लिए लौटे, लेकिन इंग्लैंड के खिलाफ फाइनल मैच में कैच लेते समय दोबारा चोटिल हो गए और पूरे मैच से बाहर हो गए। यह वह मोड़ था जिसने उनके करियर को बदल दिया।
गति और स्विंग में गिरावट
शाहीन की सबसे बड़ी ताकत उनकी तेज रफ्तार और अंदर की ओर मूव करने वाली घातक गेंद थी, लेकिन चोट के बाद वह अपनी लय खो चुके हैं। उनकी टेस्ट गेंदबाजी औसत 24.86 से बढ़कर 45.47 हो गई है। पहले वह हर 49 गेंदों में एक विकेट लेते थे, अब उन्हें 76.7 गेंदें लग रही हैं।
वनडे में भी उनकी नई गेंद से विकेट लेने की क्षमता घटी है। पहले वह पॉवरप्ले में हर 27 गेंदों में एक विकेट लेते थे, अब उन्हें 42 गेंदें लग रही हैं। उनकी इकोनॉमी रेट भी 4.87 से बढ़कर 5.29 हो गई है। टी20 में भी उनकी पावरप्ले इकोनॉमी 6.44 से बढ़कर 8.30 हो गई है।
तकनीकी समस्याएं और आत्मविश्वास की कमी
शाहीन की गेंदबाजी तकनीक में भी बदलाव आया है। मोहम्मद आमिर ने हाल ही में बताया कि शाहीन की लैंडिंग फुटवर्क गलत हो रही है, जिससे उनकी गेंदबाजी में स्विंग और गति की कमी आ रही है।
वहीं, पाकिस्तान के पूर्व विकेटकीपर राशिद लतीफ का मानना है कि शाहीन अभी भी बाएं हाथ के बल्लेबाजों के खिलाफ असरदार हैं, लेकिन दाएं हाथ के बल्लेबाजों के खिलाफ उनका प्रभाव कम हुआ है।
क्या वापसी कर सकते हैं शाहीन?
हालांकि, अभी भी कुछ मौकों पर शाहीन अपनी पुरानी लय में नजर आए हैं। ऑस्ट्रेलिया और साउथ अफ्रीका दौरे पर उनके कुछ स्पेल बेहतरीन रहे। उन्होंने चैंपियंस ट्रॉफी 2025 में रोहित शर्मा को एक घातक यॉर्कर से आउट किया, लेकिन यह प्रदर्शन लगातार नहीं रहे हैं।
पाकिस्तान क्रिकेट इस समय खराब दौर से गुजर रहा है। 2024 की शुरुआत से अब तक टीम ने सिर्फ 36.8% मैच जीते हैं। टीम मैनेजमेंट और कप्तानी में लगातार बदलाव हो रहे हैं, जिससे स्थिरता नहीं आ रही। ऐसे में पाकिस्तान को अपने अनुभवी खिलाड़ियों से बेहतरीन प्रदर्शन की जरूरत है, और शाहीन को अपने करियर को फिर से पटरी पर लाना होगा।
शाहीन अफरीदी अभी भी पाकिस्तान के सबसे बेहतरीन तेज गेंदबाजों में से एक हैं, लेकिन चोट और तकनीकी खामियों ने उनके करियर को मुश्किल में डाल दिया है। अगर वह अपनी गति, स्विंग और लेंथ पर दोबारा काम करते हैं, तो वह फिर से वर्ल्ड क्रिकेट के सबसे घातक गेंदबाज बन सकते हैं। सवाल यही है कि, क्या वह इस चुनौती को स्वीकार करके वापसी कर पाएंगे?
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