History Of Tennis: टेनिस का इतिहास एक लंबा और विकसित प्रक्रिया है, जो कई शताब्दियों में फैला हुआ है। इस खेल की शुरुआत 12वीं सदी में फ्रांस में जेरे (jeu de paume) नामक खेल से हुई, जिसे हाथ से खेला जाता था। समय के साथ, इस खेल में रैकेट का उपयोग किया जाने लगा, और यह खेल यूरोप के अन्य हिस्सों में भी फैलने लगा।
16वीं सदी में इंग्लैंड में रॉयल टेनिस या क्लॉस टेनिस का रूप लिया, जिसमें रैकेट का इस्तेमाल किया जाता था। 19वीं सदी के बीच में, इंग्लैंड में वाल्टर क्लोपटन विंटरटन ने लॉन टेनिस का विकास किया, जिसे खुले मैदानों पर खेला जाने वाला खेल बनाया गया। 1873 में, यह खेल आधुनिक टेनिस के रूप में उभरा और विंबलडन जैसी प्रतिष्ठित प्रतियोगिताओं की शुरुआत हुई।
20वीं सदी में टेनिस ने वैश्विक स्तर पर पहचान हासिल की और 1900 में यह ओलंपिक गेम्स में भी खेल शामिल हुआ। इसके साथ ही ग्रैंड स्लैम टूर्नामेंट्स जैसे विंबलडन, यूएस ओपन, फ्रेंच ओपन और ऑस्ट्रेलियन ओपन ने टेनिस को एक प्रमुख खेल बना दिया।
आज टेनिस एक अंतरराष्ट्रीय खेल बन चुका है, जिसमें महान खिलाड़ी जैसे रोजर फेडरर, राफेल नडाल, नोवाक जोकोविच और सेरेना विलियम्स ने अपनी बेहतरीन उपलब्धियों से खेल को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया है।
12वीं सदी में जेरे नामक खेले से हुए थी टेनिस की शुरुआत

टेनिस के इतिहास की शुरुआत “जेरे” (Jeu de Paume) नामक खेल से होती है, जिसे 12वीं सदी में फ्रांस में खेला गया। “जेरे” एक फ्रांसीसी शब्द है, जिसका अर्थ होता है “हाथ का खेल (Game of the Palm)”, क्योंकि इसे पहले हाथ से ही खेला जाता था। यह खेल चर्च के आंगन और दूसरे सार्वजनिक स्थानों पर खेला जाता था।
उस समय, इस खेल में दो या अधिक खिलाड़ी गेंद को एक दीवार की ओर हाथ से मारकर फेंकते थे और विपक्षी को उसे हाथ से मारकर वापस लौटाना होता था। पहले भी इस खेल में खिलाड़ी का उद्देश्य गेंद को इस प्रकार से फेंकना था, ताकि विपक्षी खिलाड़ी उसे दोबारा वापस ना मार पाए। इस खेल की शुरुआत बहुत साधारण तरीके से हुई थी, लेकिन आगे चलकर धीरे-धीरे इसके नियमों और खेलने के तरीकों में बदलाव आया।
16वीं सदी में, इस खेल में रैकेट का उपयोग शुरू हुआ। पहले, खिलाड़ी सिर्फ अपनी हथेली से बॉल को मारते थे, लेकिन फिर रैकेट का आविष्कार हुआ और यह खेल और अधिक तकनीकी वाला बन गया। रैकेट का उपयोग करने से खेल का दायरा और कौशल दोनों ही बढ़ गए।
16वीं सदी में इंग्लैंड में हुआ रॉयल टेनिस का विकास

इंग्लैंड में 16वीं सदी में इस खेल को और विकसित किया गया। यहाँ पर इसे रॉयल टेनिस या रियल टेनिस कहा गया, जो आज भी कुछ जगहों पर खेला जाता है। इसमें भी रैकेट और गेंद का उपयोग होता था, लेकिन इसके कोर्ट की बनावट और खेल के नियम आज के टेनिस से काफी अलग थे। रॉयल टेनिस को विशेष रूप से इंग्लैंड के शाही परिवार और हाई क्लास सोसाइटी के लोग खेला करते थे, इसीलिए यह खेल इंग्लैंड के शाही परिवारों और महलों में काफी चर्चित था।
19वीं सदी में वाल्टर क्लोपटन विंटरटन ने की लॉन टेनिस की शुरुआत

19वीं सदी के मध्य में, इंग्लैंड में एक कप्तान, वाल्टर क्लोपटन विंटरटन ने एक नया खेल तैयार किया जिसे लॉन टेनिस कहा गया। यह खेल पुराने रॉयल टेनिस से अलग था, क्योंकि इसे घास के मैदान (लॉन) पर खेला जाता था। यह खेल बहुत ही आसान था और इसमें रैकेट का उपयोग किया जाता था।
1873 में, विंटरटन ने इस खेल के लिए कुछ शुरुआती नियम तैयार किए, जिसमें बॉल को घास के मैदान पर रैकेट से हिट किया जाता था। इस खेल को खेलने के लिए किसी रैकेट और गेंद के अलावा अन्य किसी ख़ास चीज की आवश्यकता नहीं थी और इसे खुले मैदान में खेला जा सकता था। लॉन टेनिस के साथ ही टेनिस का आधुनिक रूप उभरने लगा।
1874 में, इस खेल का पहला आधिकारिक टूर्नामेंट आयोजित किया गया। इस टूर्नामेंट में केवल पुरुषों के बीच प्रतियोगिता हुई थी। बाद में, महिलाओं को भी टेनिस खेलने का मौका मिला और यह खेल और भी अधिक चर्चित हो गया।
विंबलडन टूर्नामेंट ने निभाई आधुनिक टेनिस के विकास में अहम भूमिका

1877 में इंग्लैंड में पहला विंबलडन टूर्नामेंट आयोजित किया गया, जो आज भी दुनिया का सबसे प्रतिष्ठित और प्राचीन टेनिस टूर्नामेंट माना जाता है। इस टूर्नामेंट को सबसे पहले All England Croquet and Lawn Tennis Club द्वारा आयोजित किया गया था। इसमें सिर्फ पुरुषों के बीच सिंगल्स मुकाबला हुआ था।
विंबलडन टूर्नामेंट के बाद, टेनिस एक प्रमुख अंतरराष्ट्रीय खेल के रूप में स्थापित होने लगा। 1884 में, महिला खिलाड़ियों को भी विंबलडन में भाग लेने का अधिकार मिला। इसके बाद, टेनिस के और भी प्रमुख टूर्नामेंट, जैसे कि फ्रेंच ओपन (Roland Garros) और यूएस ओपन की शुरुआत हुई। 1880 के दशक में, टेनिस खेल ब्रिटेन और संयुक्त राज्य अमेरिका सहित पूरी दुनिया में फैलने लगा।
20वीं सदी में हुआ अंतरराष्ट्रीय टेनिस का विस्तार

20वीं सदी में, टेनिस एक अंतरराष्ट्रीय खेल बन गया। इस दौरान टेनिस को ओलंपिक गेम्स में शामिल किया गया और 1900 में पेरिस में आयोजित ओलंपिक गेम्स में पहली बार टेनिस को आधिकारिक खेल के रूप में जगह मिली।
इसी सदी की शुरुआत में ही महिला टेनिस को भी लोकप्रियता मिली। 1920 के दशक में, प्रमुख महिला खिलाड़ी जैसे कि बिली जीन किंग और मार्गरेट कोर्ट ने महिला टेनिस को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया।
इस सदी में चार प्रमुख ग्रैंड स्लैम टूर्नामेंट (विंबलडन, फ्रेंच ओपन, यूएस ओपन और ऑस्ट्रेलियन ओपन) की शुरुआत हुई, जो आज भी टेनिस के सबसे बड़े प्रतियोगिताएं मानी जाती हैं। इन टूर्नामेंट्स ने टेनिस को वैश्विक स्तर पर और भी अधिक पहचान दिलाई।
टेनिस इतिहास में कुछ प्रमुख खिलाड़ी और मॉडर्न टेनिस में उनका योगदान
टेनिस इतिहास में कई प्रमुख खिलाड़ियों ने अपने कौशल और उपलब्धियों से इस खेल को नई ऊंचाइयों तक पहुँचाया है। यहां हम आपको कुछ प्रमुख टेनिस खिलाड़ियों और उनके योगदान के बारे में जानकारी देने जा रहे हैं।
1. रोजर फेडरर (Roger Federer)
स्विट्ज़रलैंड के रोजर फेडरर को टेनिस इतिहास के सबसे महान खिलाड़ियों में से एक माना जाता है। उन्होंने अपने करियर में सिंगल्स में 20 ग्रैंड स्लैम खिताब जीते, जो एक बड़ी उपलब्धि है। फेडरर ओपन एरा में 20 ग्रैंड स्लैम टाइटल जीतने वाले पहले पुरूष खिलाड़ी थे। सर्विस, ग्राउंडस्ट्रोक्स और कोर्ट कवरिज में सबसे महान खिलाड़ियों में शुमार फेडरर की खेलने की शैली और उत्कृष्टता मॉडर्न टेनिस परिभाषित करती है।
2. राफेल नडाल (Rafael Nadal)
स्पेन के दिग्गज टेनिस खिलाड़ी राफेल नडाल को “किंग ऑफ क्ले” कहा जाता है, क्योंकि वो क्ले कोर्ट पर खेले जाने वाले फ्रेंच ओपन में सबसे अधिक 14 बार विजेता रहे हैं। उन्होंने सिंगल्स में 22 ग्रैंड स्लैम खिताब जीते हैं। उनका खेल कड़ा, शारीरिक रूप से मजबूत और मानसिक रूप से मजबूत होता है।
3. नोवाक जोकोविच (Novak Djokovic)
सर्बियाई दिग्गज नोवाक जोकोविच ने अपने करियर में सिंगल्स में 24 ग्रैंड स्लैम खिताब जीते हैं। वह टेनिस इतिहास में सबसे अधिक ग्रैंड स्लैम जीतने वाले खिलाड़ी है। इसके अलावा, वह सिंगल्स में गोल्डन स्लैम (ऑस्ट्रेलियन ओपन, फ्रेंच ओपन, विंबलडन ओपन, यूएस ओपन और ओलंपिक मेडल) भी जीत चुके हैं।
4. सर्गेई लीवर (Sergei Laver)
ऑस्ट्रेलिया के सर्गेई लेवर ने 1962 और 1969 में दो बार ग्रैंड स्लैम (चारों प्रमुख टेनिस टूर्नामेंट) जीते थे। वे पहले खिलाड़ी थे जिन्होंने ओपन एरा से पहले और बाद में दोनों समय में ग्रैंड स्लैम जीतने का कारनामा किया। लिवर का योगदान टेनिस के पुराने दौर को नए दौर से जोड़ने में था।
5. मार्टिना नवरातिलोवा (Martina Navratilova)
अमेरिका में जन्मी चेक गणराज्य की मार्टिना नवरातिलोवा ने 18 सिंगल्स ग्रैंड स्लैम और 31 डबल्स खिताब जीते थे। वह महिलाओं में सबसे ज्यादा डबल्स खिताब जीतने वाली खिलाड़ी भी हैं।
6. बिली जीन किंग (Billie Jean King)
अमेरिका की बिली जीन किंग ने अपने करियर में 39 ग्रैंड स्लैम खिताब जीते, जिसमें 12 सिंगल्स टाइटल शामिल हैं। उन्होंने न केवल अपने खेल कौशल से, बल्कि महिला खेलों में समानता और अधिकार के लिए भी संघर्ष किया। उनका योगदान महिला टेनिस के विकास और एकसमान सैलरी की दिशा में काफी अहम था।
7. सेरेना विलियम्स (Serena Williams)
अमेरिका की सेरेना विलियम्स ने 23 ग्रैंड स्लैम सिंगल्स टाइटल जीते हैं। सेरेना ने टेनिस को महिलाओं के खेल के रूप में अधिक देखा जाने के लायक बना दिया। उन्होंने महिलाओं के टेनिस के स्तर को ऊंचा किया और खेल के प्रचार में योगदान दिया।
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