IPL 2025 एक बार फिर से 17 मई से शुरू होने जा रही है, लेकिन रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) टूर्नामेंट के दोबारा शुरू होने से पहले ही बड़ी मुश्किलों में घिरती नजर आ रही है। टीम के कप्तान रजत पाटीदार की चोट और जोश हेजलवुड की अनुपलब्धता की आशंका ने फ्रेंचाइज़ी के खेमे में चिंता बढ़ा दी है।
आईपीएल के पहले हाफ में शानदार प्रदर्शन करने वाली RCB फिलहाल पॉइंट्स टेबल में दूसरे स्थान पर है और उसकी नजर इस बार के खिताब पर टिकी हुई है। लेकिन इन दो अहम खिलाड़ियों की चोटें टीम की उम्मीदों पर असर डाल सकती हैं।
पाटीदार की अंगुली की चोट बनी बड़ी चिंता
RCB के कप्तान रजत पाटीदार को चेन्नई सुपर किंग्स के खिलाफ खेले गए घरेलू मुकाबले में अंगुली में चोट लग गई थी। रिपोर्ट्स के अनुसार, यह चोट गंभीर हो सकती है और इससे उबरने में उन्हें लंबा समय लग सकता है। फिलहाल पाटीदार को अपनी चोटिल अंगुली पर स्प्लिंट पहनने की सलाह दी गई है और उनकी स्थिति की समीक्षा आने वाले दिनों में की जाएगी।
अगर टूर्नामेंट का एक सप्ताह का ब्रेक नहीं होता, तो पाटीदार कम से कम दो मुकाबले नहीं खेल पाते। हालांकि, ब्रेक के चलते टीम को थोड़ी राहत जरूर मिली, लेकिन चोट की गंभीरता को देखते हुए उनके आईपीएल 2025 में आगे खेलने पर संशय बना हुआ है।
टीम मैनेजमेंट को अब भी उम्मीद है कि पाटीदार टूर्नामेंट के आखिरी स्टेज में टीम के लिए एक इंपैक्ट प्लेयर के तौर पर मैदान में उतर सकते हैं। लेकिन इसका फैसला उनकी रिकवरी के आधार पर ही लिया जाएगा। उन्हें फिलहाल नेट्स में बल्लेबाज़ी करने से भी मना किया गया है।
पाटीदार की अनुपस्थिति से कप्तानी का सवाल
अगर पाटीदार पूरी तरह से टूर्नामेंट से बाहर हो जाते हैं, तो यह RCB के लिए एक बड़ा झटका होगा। इस सीजन में उन्होंने न केवल बल्लेबाज़ी में अहम भूमिका निभाई है, बल्कि कप्तानी में भी टीम को मजबूती दी है।
ऐसे में अगर वह अनुपलब्ध रहते हैं, तो कप्तानी का भार विकेटकीपर जितेश शर्मा को सौंपा जा सकता है, जो पहले से ही फ्रेंचाइज़ी के भीतर एक पॉपुलर और भरोसेमंद चेहरा माने जा रहे हैं।
देवदत्त पडिक्कल पहले ही हो चुके हैं बाहर
पाटीदार से पहले टीम को एक और बड़ा झटका लग चुका है। RCB के प्रमुख टॉप ऑर्डर बल्लेबाज देवदत्त पडिक्कल हैमस्ट्रिंग इंजरी के कारण पहले ही बाहर हो चुके हैं। वह RCB की टॉप 5 में एकमात्र बाएं हाथ के बल्लेबाज थे और उनकी अनुपस्थिति ने टीम की बैटिंग कॉम्बिनेशन को प्रभावित किया है।
फ्रेंचाइज़ी ने उन्हें रिप्लेस करने के लिए मयंक अग्रवाल को टीम में शामिल किया है, जो अब दूसरी बार RCB का हिस्सा बने हैं।
हेज़लवुड की वापसी की उम्मीद नहीं
पाटीदार की तरह ही ऑस्ट्रेलियाई तेज़ गेंदबाज़ जोश हेज़लवुड की वापसी भी संदिग्ध नजर आ रही है। हेजलवुड कंधे की चोट से जूझ रहे थे और टूर्नामेंट के निलंबन से पहले चेन्नई के खिलाफ मुकाबले में हिस्सा नहीं ले पाए थे। उन्होंने पहले भी भारत के खिलाफ पांच में से तीन टेस्ट मैच मिस किए थे और बाद में श्रीलंका दौरा और चैंपियंस ट्रॉफी से भी बाहर रहे।
हालांकि, आईपीएल में खेलने के लिए वह स्पेशल रिहैब प्रोग्राम के तहत टीम में शामिल हुए थे, लेकिन अब रिपोर्ट्स के मुताबिक, वह वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल की तैयारियों के चलते IPL में दोबारा नहीं लौटेंगे। यह मुकाबला 11 जून को लंदन में खेला जाना है, और इसी को ध्यान में रखते हुए ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेट बोर्ड उन्हें IPL से बाहर रखना चाह रहा है।
गेंदबाज़ी पर पड़ेगा असर
हेज़लवुड की अनुपस्थिति से RCB की बॉलिंग यूनिट पर बड़ा असर पड़ेगा। उन्होंने पॉवरप्ले और डेथ ओवरों में टीम को लगातार सफलता दिलाई है। अगर वह टूर्नामेंट में वापस नहीं लौटते, तो नुवान तुषारा जैसे गेंदबाज़ को मौके दिए जा सकते हैं, जो यॉर्कर और वैराइटी वाली गेंदबाजी के लिए जाने जाते हैं।
आगे की राह कठिन लेकिन उम्मीदें बरकरार
इन सभी झटकों के बावजूद RCB की टीम अब तक शानदार प्रदर्शन कर रही है और अंक तालिका में दूसरे स्थान पर काबिज है। लेकिन जैसे-जैसे टूर्नामेंट अपने निर्णायक दौर में प्रवेश करेगा, ऐसे खिलाड़ियों की अनुपस्थिति से टीम की गहराई और संतुलन की असली परीक्षा होगी।
रजत पाटीदार, देवदत्त पडिक्कल और जोश हेज़लवुड जैसे तीन बड़े नामों की गैरमौजूदगी में टीम को न केवल रणनीति में बदलाव करना होगा, बल्कि मानसिक तौर पर भी खुद को संभालना होगा। अब देखना होगा कि क्या मयंक अग्रवाल, नुवान तुषारा और स्वस्तिक चिकारा जैसे नए नाम इस मौके का फायदा उठाकर टीम को उसके पहले खिताब की ओर ले जा पाते हैं या नहीं।
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